निबंध

मोबाइल फोन पर निबंध (Mobile Phone Essay in Hindi)

मोबाइल फोन आज के जीवन का अभिन्न अंग बन गया है। हमारे दिन की शुरुआत भी मोबाइल फोन से होती है और अंत भी। बड़े तो बड़े, बच्चों को भी इसकी लत लग गयी है। आजकल के अभिभावक भी अपनी परेशानी से बचने के लिए छोटे-छोटे बच्चों के हाथ में फोन पकड़ा देते है, वही बच्चों की आदत हो जाती है। जोकि बिलकुल ठीक नहीं है।

मोबाइल फोन पर छोटे-बड़े निबंध (Short and Long Essay on Mobile Phone in Hindi, Mobile Phone par Nibandh Hindi mein)

निबंध –1 (300 निबंध): पहले फोन का अविष्कार

प्रस्तावना

मोबाइल फोन को अक्सर “सेल्युलर फोन” भी कहा जाता है। यह मुख्य रूप से वॉयस कॉल के लिए उपयोग किया जाने वाला उपकरण है। वर्तमान में तकनीकी प्रगति ने हमारे जीवन को आसान बना दिया है। आज, एक मोबाइल फोन की मदद से हम दुनिया भर में किसी से भी आसानी से बात कर सकते हैं या वीडियो चैट कर सकते हैं।

पहला फोन

1973 से पहले, मोबाइल टेलीफोनी कारों और अन्य वाहनों में स्थापित फोन तक सीमित था। मोटोरोला पहली कंपनी थी जिसने हैंडहेल्ड मोबाइल फोन का उत्पादन किया। 3 अप्रैल, 1973 को, मोटोरोला के एक शोधकर्ता और कार्यकारी, मार्टिन कूपर ने हैंडहेल्ड सब्सक्राइबर उपकरणों से पहला मोबाइल टेलीफोन कॉल किया, जो उनके प्रतिद्वंदी बेल लैब्स के डॉ जोएल.एस.एंगेल को किया गया कॉल था।

डॉ. कूपर द्वारा उपयोग किए जाने वाले प्रोटोटाइप हैंडहेल्ड फोन का वजन 1.1 किलोग्राम था और 23x13x4.5 सेंटीमीटर (9.1×5.1×1.8 इंच) मापा गया। प्रोटोटाइप ने केवल 30 मिनट के टॉक टाइम की पेशकश की और पुनः चार्ज करने में 10 घंटे का समय लिया।

जॉन एफ.मिशेल, मोटोरोला की प्रमुख पोर्टेबल संचार उत्पादों और कूपर की बॉस ने मोबाइल टेलीफोन उपकरणों के विकास को आगे बढ़ाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। चूंकि मिशेल, मोटोरोला को बेतार संचार उत्पादों को विकसित करने में विफल रही। लेकिन उनकी दुरदर्शी सोच ने आज के आधुनिक फोन की नींव रखी।

नई तकनीक को तरंगों या पीढ़ियों की एक श्रृंखला में विकसित और रोल आउट किया गया है। “पीढ़ी” शब्दावली केवल व्यापक रूप से उपयोग की जाती है जब 3जी लॉन्च किया गया था, लेकिन अब पूर्ववर्ती प्रणालियों का जिक्र करते हुए अब इसका उपयोग पूर्वव्यापी रूप से किया जाता है।

उपसंहार

आज मोबाइल फोन विभिन्न आकृति और आकारों में उपलब्ध हैं, विभिन्न तकनीकी फीचर्स हैं और कई उद्देश्यों के लिए उपयोग किए जाते हैं। जैसे – वॉइस कॉलिंग, वीडियो चैटिंग, टेक्स्ट मैसेजिंग, इंटरनेट ब्राउज़िंग, ईमेल, वीडियो गेम और फोटोग्राफी आदि। इसलिए इसे ‘स्मार्ट फोन’ कहा जाता है।

निबंध – 2 (400 शब्द): मोबाइल फोन के फायदे

प्रस्तावना

आजकल आदमी के सभी जरुरी काम फोन ने सम्भाल लिए है। व्यस्त से व्यस्त आदमी भी फोन इस्तेमाल करने के लिए समय निकाल ही लेता है। आजकल व्हाट्सएप, फेसबुक ने इतनी आदत खराब कर दी है कि हर कोई दो-दो मिनट पर व्हाट्सएप चेक करता रहता है। अगर आप खाली है तो यह आपका सर्वोत्तम समय बिताने का ज़रिया बन जाएगा।

मोबाइल फोन के फायदे

1) हमें जोड़े रखता है

अब हम अपने दोस्तों, रिश्तेदारों से किसी भी समय कई ऐप्स के माध्यम से जुड़ सकते हैं। अब हम अपने मोबाइल फ़ोन या स्मार्टफ़ोन को संचालित करके, जिस किसी से भी चाहें, वीडियो चैट कर सकते हैं। इसके अलावा मोबाइल हमें पूरी दुनिया के बारे में अपडेट भी रखता है।

2) ऑनलाइन संचार सुविधा

आज मोबाइल फोन ने दैनिक जीवन की गतिविधियों के लिए हमारे जीवन को बहुत आसान बना दिया है। आज, कोई मोबाइल फोन पर लाइव ट्रैफ़िक स्थिति का आकलन कर सकता है और समय पर पहुंचने के लिए उचित निर्णय ले सकता है। इसके साथ मौसम की जानकारी, कैब बुक करना और भी बहुत कुछ।

3) सभी के लिए मनोरंजन कभी भी, कहीं भी।

मोबाइल प्रौद्योगिकी के सुधार के साथ, पूरे मनोरंजन की दुनिया अब एक ही उपकरण के अधीन है। जब भी हम नियमित काम से ब्रेक लेना चाहते हैं, तो हम संगीत सुन सकते हैं, फिल्में देख सकते हैं, हमारे पसंदीदा शो देख सकते हैं या पसंदीदा गाने का वीडियो भी देख सकते हैं।

4) ऑफिस का काम मैनेज करना

इन दिनों मोबाइल फोन का इस्तेमाल कई तरह के आधिकारिक कामों के लिए किया जाता है। शेड्यूल मीटिंग से लेकर, डॉक्यूमेंट भेजना और प्राप्त करना, प्रेजेंटेशन देना, अलार्म, जॉब एप्लिकेशन आदि। मोबाइल फोन हर कामकाजी लोगों के लिए एक जरूरी उपकरण बन गए हैं।

5) मोबाइल बैंकिंग

आजकल मोबाइलों का उपयोग भुगतान करने के लिए बटुए के रूप में भी किया जाता है। स्मार्टफोन में मोबाइल बैंकिंग का उपयोग करके दोस्तों, रिश्तेदारों या अन्य को लगभग तुरंत धन हस्तांतरित किया जा सकता है। इसके अलावा, कोई भी अपने खाते के विवरण को आसानी से देख सकता है और पिछले लेनदेन को जान सकता है। यह बहुत समय बचाता है और परेशानी से मुक्त भी करता है।

निष्कर्ष

माना मोबाइल फोन के अनेकों लाभ है। आधुनिकता के सबसे बड़ा प्रतीक बन चुका है। अगर आज किसी के पास मोबाइल फोन न हो, तो उसे बड़े आश्चर्य की दृष्टि से देखते है। वो कहते है न, हर चीज की अति खराब होती है। यह बात मोबाइल फोन के अधिकाधिक प्रयोग पर भी लागू होता है। अगर इसका उपयोग सावधानी एवं समझदारी से किया जाये तो यह हमारे लिए हर मामले में लाभकारी सिध्द होगा।

निबंध – 3 (500 शब्द): मोबाइल फोन के नुकसान

प्रस्तावना

मोबाइल फोन हमारे लिए बहुत कुछ करता हैं, पहला ये हमें डेटा स्टोर करने की अनुमति देता हैं। चित्र, पाठ और ऑडियो मोबाइल फोन पर संग्रहीत किए जा सकते हैं। यह हमें हमारी फ़ाइलों को कभी भी कहीं भी ले जाने में सक्षम बनाता है। यह सुनिश्चित करता है कि हम हमेशा काम या अपने निजी जीवन के लिए महत्वपूर्ण दस्तावेजों के साथ हैं।

मोबाइल फोन के नुकसान

1) समय बर्बाद करना

आजकल के लोग मोबाइलों के आदी हो गए हैं। यहां तक कि जब हमें मोबाइल की आवश्यकता नहीं होती है तब भी हम नेट सर्फ करते हैं, गेम खेलते हैं जो एक वास्तविक व्यसन है। जैसे-जैसे मोबाइल फोन स्मार्ट होते गए, वैसे-वैसे लोग सुस्त होते गए।

2) हमें गैर-संचारी बनाना

मोबाइल फोन के व्यापक उपयोग के कारण मिलना कम और बात करना अधिक हुआ है। अब लोग शारीरिक रूप से मिलने के बजाय सोशल मीडिया पर चैट या टिप्पणी ज्यादा करते हैं।

3) गोपनीयता की हानि

अधिक मोबाइल उपयोग के कारण किसी की गोपनीयता को खोना एक बड़ी चिंता है। आज कोई भी आसानी से आपके बारे में जानकारी प्राप्त कर सकता है अपने सोशल मीडिया अकाउंट के माध्यम से आसानी से ब्राउज़ करके। जैसे आप कहाँ रहते हैं, आपके मित्र और परिवार, आपका व्यवसाय क्या है, आपका घर कहाँ है, आदि।

4) धन का अपव्यय

जैसा कि मोबाइलों की उपयोगिता बढ़ गई है, इसलिए उनकी लागत में वृद्धि हुई है। आज लोग स्मार्टफोन खरीदने पर बहुत अधिक राशि खर्च कर रहे हैं, जो कि शिक्षा, या हमारे जीवन में अन्य उपयोगी चीजों पर खर्च की जा सकती है।

5) दुर्घटना की संभावना

इन दिनों हमने देखा है कि लोग सड़को पर चलते वक़्त भी फोन में घुसे रहते है, जो कई बार भीषण दुर्घटनाओं की शक्ल ले लेता है। कुछ लोग चलते समय सेल्फी क्लिक करते हैं, अन्य लोग कॉल पर होते हैं, कुछ लोग टेक्सटिंग जारी रखते हैं। निरंतर प्रचार और विभिन्न जागरूकता अभियानों के बाद लोगों ने टेक्स्टिंग और ड्राइविंग के निहितार्थों को महसूस किया है। अब, टेक्सटिंग और अन्य चीजों के बारे में जागरूकता बढ़ाने के लिए नए कार्यक्रमों की आवश्यकता प्रतीत होती है।

6) साइबर-क्राइम का खतरा

आजकल साइबर-क्राइम का खतरा बहुत ज्यादा बढ़ गया है। आजकल हम अपनी सारी जरुरी जानकारी अपने फोन में रखते है। जब तक फोन साइबर क्राइम की चपेट में नहीं आ जाता, तब तक आपकी सभी जानकारी एक जगह पर होना सुविधाजनक हो सकता है। लेकिन चोरी होने पर, वे हमें सभी प्रकार के साइबर अपराधों के लिए बेहद संवेदनशील बना देता हैं।

7) नोमोफोबिया

नोमोफोबिया आपके मोबाइल फोन के बिना होने या किसी कारण से आपके फोन का उपयोग करने में असमर्थ होने का तर्कहीन डर है, जैसे सिग्नल की अनुपस्थिति या बैटरी डिस्चार्ज हो जाना। यह मोबाइल फोन के संपर्क से बाहर होने के भय को दिया गया नाम है। हालाँकि यह शब्द ‘नोमोफोबिया’ है, लेकिन कई लोगों का तर्क है कि ‘फोबिया’ सबसे उपयुक्त नहीं हो सकता है; और इसे चिंता विकार कहना अधिक उपयुक्त हो सकता है।

निष्कर्ष

एक मोबाइल फोन सकारात्मक और नकारात्मक दोनों हो सकता है। उपयोगकर्ता इसका उपयोग किस आधार पर करता है, इस बात पर निर्भर करता है। चूँकि मोबाइल हमारे जीवन का एक अभिन्न हिस्सा बन गए हैं। अपने बेहतर जीवन के लिए अनुचित तरीके से उपयोग करने के बजाय इसे सावधानीपूर्वक उपयोग करना चाहिए और इसे जीवन उपयोगी बनाना चाहिए।

FAQs: Frequently Asked Questions on Mobile Phone (मोबाइल फोन पर अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न)

प्रश्न 1- भारत में मोबाइल फोन की शुरुआत कब हुई?

उत्तर- सन् 1995 में

प्रश्न 2- दुनिया का पहला मोबाइल किसने बनाया था?

उत्तर- सन् 1970 में इंजीनियर मार्टिन कूपर ने।

प्रश्न 3- भारत का पहला मोबाइल किस कम्पनी ने बनाया था?

उत्तर- मोदी टेल्स्ट्रा ने।

प्रश्न 4- दुनिया का पहला स्मार्ट मोबाइल फोन किस कम्पनी ने बनाया था?

उत्तर- विश्व का पहले स्मार्टफोन IBM Simon ने बनाया था।

मीनू पाण्डेय

शिक्षा स्नातक एवं अंग्रेजी में परास्नातक में उत्तीर्ण, मीनू पाण्डेय की बचपन से ही लिखने में रुचि रही है। अकादमिक वर्षों में अनेकों साहित्यिक पुरस्कारों से सुशोभित मीनू के रग-रग में लेखनी प्रवाहमान रहती है। इनकी वर्षों की रुचि और प्रविणता, इन्हे एक कुशल लेखक की श्रेणी में खड़ा करता है। हर समय खुद को तराशना और निखारना इनकी खूबी है। कई वर्षो का अनुभव इनके कार्य़ को प्रगतिशील और प्रभावशाली बनाता है।

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द्वारा प्रकाशित
मीनू पाण्डेय