भाषण

विद्यार्थियों के लिए विदाई भाषण

हम यहाँ स्कूल में पढ़ने वाले छात्रों के लिए कुछ अच्छे विदाई भाषण उपलब्ध करा रहे हैं। हमने यहाँ विभिन्न भाषणों को, स्कूल के छात्रों के लिए प्राचार्य, अध्यापकों, विद्यार्थियों आदि के लिए और उनके जूनियर्स द्वारा दिए जाने वाले भाषणों के रुप में श्रेणीबद्ध किया है। ये भाषण विद्यार्थियों द्वारा उस समय प्रयोग किए जाते हैं, जब कभी भी वे अपनी पढ़ाई पूरी करके कॉलेज को छोड़ते हैं। आप दिए गए भाषणों में से कोई भी भाषण अपनी आवश्यकता और जरुरत के अनुसार विदाई समारोह में बोलने के लिए चुन सकते हैं।

स्कूल में विद्यार्थियों के लिए विदाई भाषण (Farewell Speech for Students in Hindi)

शिक्षकों के द्वारा विद्यार्थियों के लिए विदाई भाषण

आदरणीय प्राचार्य महोदय, उप-प्राचार्य, मेरे साथियों और मेरे प्यारे विद्यार्थियों, सभी को सुप्रभात। यह बहुत विशेष दिन है, जब हम 12वीं कक्षा के, वर्ष 2016 के, बच्चों के लिए विदाई समारोह का आयोजन कर रहे हैं।

आज 15 मार्च को हम बड़ी संख्या में छात्रों के युवा समूह को, इस स्कूल में लगभग 12 साल व्यतीत करने के बाद विदाई देने के लिए इकट्ठा हुए हैं। आप सभी ने, यहाँ से बाहर जाकर कॉलेज से जुड़ने और देखने के लिए वर्षों का इंतजार किया है, आखिरकार, इतने लम्बे इंतजार के बाद वो दिन आ ही गया जब आप इस स्कूल को छोड़कर अपने भविष्य को नया रुप देने के लिए कॉलेज में प्रवेश लोगे।

12वीं कक्षा के छात्रों का कक्षा-अध्यापक होने के नाते, मैं आप सभी के बारे में, इन 12 सालों के साथ में मैंने जो कुछ भी महसूस किया है, उसके बारे में कुछ कहना चाहता हूँ। आप सभी वास्तव में, अपनी सज्जनता के कारण मुझसे अपनी प्रशंसा सुनने के पात्र हो।

मेरे प्यारे विद्यार्थियों, हमें आप सभी को उज्ज्वल भविष्य के लिए तैयार करने और आकार देने में 12 साल का लम्बा समय लगा। समय के साथ अध्यापकों ने भी विद्यार्थियों के साथ में बहुत कुछ सीखा। इसलिए मैंने भी यही किया, मैंने आप में अपना बचपन बढ़ते हुए देखा है। आगे बढ़ने और छात्रों को आकार देने के लिए, छात्रों और अध्यापकों को साथ में मिलकर प्रयास करने पड़ते हैं और अच्छे परिणामों के लिए साथ मिलकर एक ताकत के रुप में कार्य करना पड़ता है।

विद्यार्थी, अध्यापकों के कार्यों का विषय, अध्यापकों के विचारों का लक्ष्य और अध्यापकों के प्रयासों प्रतिबिम्ब होते हैं। यह सत्य है कि, हमने आप सभी को शिक्षित किया है हालांकि, यह भी सत्य है कि, हमने भी आप सभी से बहुत कुछ सीखा है। यह बहुत लम्बा सफर था हालांकि, आप सभी की भविष्य में कुछ बेहतर करने की दृढ़इच्छा के कारण बहुत जल्दी बीत गया। इस स्कूल ने आपके बचपन और किशोरावस्था को देखा है, और अब आप सभी जीवन की युवा अवस्था में प्रवेश करने के लिए अग्रसर हो। बाल अवस्था में आपको अध्ययन का कार्य कराना बहुत मुश्किल कार्य था हालांकि, यह युवा अवस्था में थोड़ा आसान जरुर हो गया। हमने जो कुछ भी किया (चाहे अच्छा या बुरा), वो आप सभी को देश के भविष्य के लिए अच्छे मनुष्य के रुप में आकार देने की एक प्रक्रिया थी।

यह सभी हमारी जिम्मेदारी थी: कभी-कभी हमने तुम्हें प्यार किया और देखभाल की और कभी-कभी तुम्हें कठिन कार्यों को पूरा करने के लिए दिया। मेरे प्यारे छात्रों, आप सभी को मेरी यह सलाह है कि, इस स्कूल की दहलीज पर खड़े होकर पीछे की ओर मुड़कर मत देखना। आगे की ओर देखते हुए और आगे बढ़ते हुए संसार को देखना, हमारी शुभकामनाएं सदैव आपके साथ हैं। मेरे बच्चों संसार को आप जैसे अधिक बुद्धिमान युवाओं की आवश्यकता है। सफलता आपके रास्ते में होगी। बस अपने दिमाग में यही रखना कि, आप अपने सभी कार्यों में सही हो और यह भी मत भूलना कि, सच की हमेशा जीत होती है। दूसरों को खुश करने की अपनी शक्ति का प्रयोग सभी को खुश करने में करना न कि दुखी करने में। किसी भी बुरी स्थिति में कभी भी आत्मसमर्पण मत करना और खुद में विश्वास रखना। जाओ और अपना नाम, धन, प्रसिद्धि कमाओ और हमारे पास अपनी सफलता की कहानी सुनाने के लिए वापस आओ। मैं स्वामी विवेकानन्द जी के द्वारा कहे गए कुछ शब्दों को कहना चाहता हूँ:

“एक विचार लो और उस विचार को अपने जीवन का सार बना लो- उसी को सोचो और उसी के स्वप्न देखो। उस विचार से अपने मस्तिष्क, पेशियों, कोशिकाओं, शरीर के हरेक भाग को उससे भरने दो और दूसरे अन्य विचारों को अकेला छोड़ दो। यही सफलता का रास्ता है।”

धन्यवाद।

 

प्राचार्य द्वारा छात्रों के लिए विदाई भाषण

सम्मानित शिक्षकों और मेरे प्यारे छात्रों के लिए नमस्कार। हम सभी यहाँ 12वीं कक्षा के बुद्धिमान छात्रों को विदाई देने के लिए इकट्ठा हुए हैं। आज 16 मार्च को, विदाई समारोह में आप सभी का स्वागत है। मैं अपने शब्दों में, अपने 12वीं कक्षा के प्रिय छात्रों के बारे में कुछ कहना चाहता हूँ। विद्यार्थी किसी भी स्कूल की सबसे कीमती सम्पत्ति होते हैं, उनके बिना शिक्षक और विद्यालय कुछ भी नहीं है। यद्यपि, यह भी सत्य है कि, विद्यार्थी भी एक अच्छे अध्यापक के बिना कुछ नहीं है या अधूरे हैं। इसलिए, एक दूसरे के महत्व के लिए दोनों ही बराबर जिम्मेदार है। हम यह नहीं कह सकते, कि केवल शिक्षक ही, छात्रों के जीवन में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं हालांकि, विद्यार्थी भी शिक्षक के महत्व और मूल्य को बनाने में महान भूमिका निभाते हैं। छात्रों के भविष्य को आकार देने और निर्माण करने में, दोनों की ही सम्मान भागीदारी की आश्यकता है।

एक अच्छा विद्यार्थी, एक अच्छे शिक्षक की अनुपस्थिति में कुछ नहीं कर सकता और जब किसी शिक्षक को अच्छा छात्र नहीं मिलता तो वह उसे अपना दुर्भाग्य समझता है। यह शिक्षक की जिम्मेदारी होती हैं कि, वह अपने छात्र को सही रास्ते पर लाए हालांकि, यह छात्र की भी जिम्मेदारी है कि वह अपने शिक्षक की बताई हुई बातों का पालन करे। उन्हें विद्यालय में समान रुप से एक दूसरे का समर्थन करने की आवश्यकता है। हमारे विद्यार्थी बहुत ही अनुशासित, अच्छे संस्कारों वाले, समय के पाबंद, और जिम्मेदार व्यक्ति है। इन्होंने स्कूल के लिए अपने सभी दायित्वों को पूरा किया है, जिसके कारण हमारे स्कूल ने बहुत विकास किया और पूरे जिले में सबसे अच्छी शिक्षा को प्रदान करने वाले स्कूल की छवि बनाई है। यह सबकुछ मेरे प्रिय छात्रों और शिक्षकों के कठिन प्रयासों के माध्यम से संभव हो पाया है।

12वीं कक्षा के विद्यार्थियों की बॉस्केटबॉल आन्तरिक स्कूल प्रतियोगिता में जिला स्तरीय जीत ने मुझे वास्तव में, आश्चर्यचकित कर दिया। मेरी यही इच्छा है कि, मेरे छात्र पहले से भी अधिक आगे बढ़े और इस स्कूल का और अपने माता-पिता का नाम रोशन करें। छात्रों के इतने सालों के कठिन परिश्रम और संघर्ष के बाद, अब आप सभी को अलविदा कहने का समय आया है ताकि, आप संसार को अपने कॉलेज जीवन को पूरा करने के बाद देख सको।

मेरे प्यारे छात्रों, मेरे अपने अनुभव के अनुसार, आपको अपने जीवन में बहुत सी कठिन चुनौतियों का सामना करना पड़ेगा। तो भी आप उनसे घबराना नहीं, और मजबूत आत्मविश्वास के साथ आगे बढ़ते जाना। यह तुम्हारा विश्वास, साहस, धैर्य और कठिन परिश्रम ही है, जो तुम्हें भविष्य में आगे की ओर ले जाएँगे और तुम्हें उज्ज्वल भविष्य प्रदान करेंगे। मेरी शुभकामनाएं सदैव आपके साथ है। मैं एल्बर्ट आइंसटिन की कही लाइन आपसे कहना चाहूँगा:

“सफल व्यक्ति बनने की कोशिश मत करो, लेकिन इसके स्थान पर मूल्यवान व्यक्ति बनो।”

धन्यवाद।

 

जूनियर्स के द्वारा छात्रों को विदाई भाषण

आदरणीय महानुभावों, सम्मानीय प्रधानाचार्य, सर, मैडम, मेरे सीनियर्स और प्यारे मित्रों, आप सभी को सुप्रभात। मैं सभी जूनियर्स की तरफ से अपने सीनियर्स के विदाई समारोह पर कुछ कहना चाहता हूँ। आज हमारे स्कूल के 12वीं कक्षा के विद्यार्थियों का विदाई समारोह है। हमने इस प्रतिष्ठित स्कूल में एक साथ खेल के मैदान में, पुस्तकालय में और प्रयोगशाला में बहुत मस्ती की है। हम अलग-अलग परिवेश से आते हैं हालांकि, स्कूल में एक जैसे लगते हैं क्योंकि हम एक जैसी स्कूल ड्रेस पहनते हैं। हम सभी अलग-अलग भावनाएं और नजरिया रखते हैं हालांकि, हम स्कूल में अपने सीनियर्स से अच्छे व्यवहार को सीखते हैं।

जब कभी भी हमें अपने ग्रह कार्य या स्कूल के कार्य के लिए दंडित किया गया, हमारे सीनियर्स ने हमेशा हमारी मदद की। आप हमेशा हरेक परिस्थिति में हमारी मदद के लिए तैयार रहते हैं। आपने फुटबॉल मैच प्रतियोगिता और क्विज प्रतियोगिता के दौरान हमारी बहुत मदद की थी। जब कभी भी मैं, अपने सीनियर्स के साथ पिछले बीते हुए पलों के बारे में सोचता हूँ तो, मैं आशा से भर जाता हूँ और सोचता हूँ कि, मैं भी सीनियर हो गया हूँ, तो मुझे भी अपने जूनियर्स के लिए समान जिम्मेदारियों को उठाकर अच्छा सीनियर बनना चाहिए।

मेरे प्यारे वरिष्ठ सहयोगियों, आज आप स्कूली जीवन से छुट्टी लेकर, बेहतर भविष्य बनाने के लिए कॉलेज जीवन की ओर अग्रसर हो रहे हो। आपकी सफलता में कोई संदेह नही है। मैं आपके बेहतर भविष्य के लिए शुभकामनाएं देता हूँ। आपको विदाई देना हमारे लिए बहुत मुश्किल है, लेकिन हमें अपने स्कूल की परम्परा को निभाते हुए आपको विदा करना पड़ेगा। मेरा आप सभी से निवेदन है कि, आप हमें भूल मत जाना, हमें हमेशा आपकी जरुरत पड़ेगी। मुझे महात्मा गाँधी के कहे गए कुछ शब्द याद आ रहे हैं:

“ऐसे जीयो जैसे कि, कल तुम मरने वाले हो। सीखो ऐसे जैसे तुम सदा रहने वाले हो।”

धन्यवाद।


 

विदाई समारोह पर छात्रों के द्वारा विदाई भाषण

आदरणीय प्राचार्य, शिक्षक एवं शिक्षिकाएं, प्यारे जूनियर्स और मेरे प्रिय साथियों, आप सभी को शुभ संध्या। मैं आप सभी के सामने, इस विदाई समारोह में अपनी कक्षा की ओर से भाषण देना चाहता हूँ। आज हमारा विदाई समारोह है और इस स्कूल में एक विद्यार्थी के रुप में हमारा आखिरी दिन भी है। वास्तव में, हमने इस स्कूल में, अपने प्रवेश लेने के समय से ही बहुत मस्ती की है। हमने यहाँ से अपनी 12वीं कक्षा पास की है और कुछ पेशेवर डिग्री प्राप्त करके अपने कैरियर के निर्माण के लिए कॉलेज में प्रवेश लेना पड़ेगा। हम सभी अध्यापकों के सहयोग को कभी नहीं भूल सकते। हमें अपने शिक्षकों और शिक्षिकाओं द्वारा सिखाये गए सभी शिष्टाचार हमेशा याद रहेंगे।

हम बहुत साल पहले इस स्कूल से जुड़े थे हालांकि, यह लगता है कि वह कल ही था जब हम इस स्कूल में आए थे और अलग होने का समय बहुत जल्दी आ गया। इस स्कूल का शैक्षिक वातावरण बहुत ही कड़ा, और प्रोत्साहित करने वाला है। हम इसे बहुत अधिक पसंद करते हैं। हमने अच्छी शिक्षा के साथ ही बहुत से अनुभव लिए हैं। मैं कुछ खुशनुमा पल आपके साथ साझा करना चाहता हूँ। मैं बचपन में बहुत शरारती था और आमतौर पर कक्षा में अपने मित्रों को परेशान किया करता था। तो भी, केवल मेरे कक्षा अध्यापक के पढ़ाने के तरीके से मेरा सारा बुरा व्यवहार अच्छे व्यवहार में बदल गया। मैं अपने सभी अध्यापकों का आभारी हूँ, जिन्होंने मुझे एक अच्छा विद्यार्थी बनाया।

मुझे आज भी, अपने मित्रों के साथ अपनी सभी अच्छी और बुरी यादें, याद हैं जैसे; तेज-तेज हसना, मजाक, उपन्यास पढ़ना, अपने मित्रों का छिपकर खाना खा लेना, सड़कों पर भागना, सीढियों पर दौड़ प्रतियोगिता करना, अपने दोस्तों का मिलकर मजाक बनाना, एक दूसरे के साथ मस्ती करना आदि। इस तरह की, ये सभी यादें मेरे लिए मूल्यवान हैं और हमेशा मेरे दिल में रहेंगी। स्कूल हमारे दूसरे घर की तरह था जहाँ हमें भविष्य के लिए तैयार किया गया। मुझे नहीं पता कि, मैं भविष्य में कभी अपने दोस्तों से मिल भी पाऊँगा या नहीं पर निश्चित ही उनसे सोशल मीडिया जैसे; फेसबुक, ई-मेल, ट्विटर, लिंक्ड़-इन, स्काईप और गूगल-प्लस आदि के माध्यम से जुड़ा अवश्य रहूँगा।

मैं अपने शिक्षकों को उनके सभी प्रयासों के लिए और अपने प्यारे दोस्तों को और जूनियर्स को उनके प्यार और दोस्ती के लिए बहुत आभारी हूँ। साथ ही मैं, अपने दोस्तों से अपने बुरे बर्ताव के लिए मॉफी भी माँगता हूँ। मैं अपने मित्रों और जूनियर्स को उनके बेहतर भविष्य के लिए शुभकामनाएं देता हूँ।

धन्यवाद।

अर्चना सिंह

कई लोगो की प्रेरणा की स्रोत, अर्चना सिंह एक कुशल उद्यमी है। अर्चना सिंह 'व्हाइट प्लैनेट टेक्नोलॉजीज प्राइवेट लिमिटेड' आई. टी. कंपनी की डायरेक्टर है। एक सफल उद्ममी होने के साथ-साथ एक कुशल लेखक भी है, व इस क्षेत्र में कई वर्षो का अनुभव है। वे 'हिन्दी की दुनिया' और अन्य कई वेबसाइटों पर नियमित लिखती हैं। अपने प्रत्येक क्षण को सृजनात्मकता में लगाती है। इन्हें खाली बैठना पसंद नहीं। इनका कठोर परिश्रम एवं कार्य के प्रति लगन ही इनकी सफलता की कुंजी है।

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अर्चना सिंह