10 वाक्य

दिवाली पर 10 वाक्य (10 Lines on Diwali in Hindi)

दिवाली(Diwali) का पर्व मुख्य रूप से एक भारतीय हिन्दू त्यौहार होने के बावजूद बाकी देशों में भी बड़े ही उत्साह के साथ मनाया जाता है। विदेशों में हिन्दू धर्म के त्यौहार व रीति-रिवाजों को विदेशी लोग बड़े ही खुशी से मनाते हैं जिससे भारतीय संस्कृति का भी प्रसार हुआ है। यह पर्व भगवान राम के वापस आने के प्रतीक के रूप में मनाया जाता है। दिवाली का त्यौहार लोगों को एकजुट करता है।

दिपावली पर निबंध || दिवाली पर छात्रों के लिए भाषण

दिवाली त्यौहार पर 10 लाइन (Ten Lines on Diwali/Deepawali Festival in Hindi)

आज इस लेख के माध्यम से हम भारत में मनाए जाने वाले दिपावली पर्व के बारे में जानकारी प्राप्त करेंगे।

यह भी पढ़े : छठ पूजा पर 10 वाक्य

Diwali par 10 Vakya – Set 1

1) दिवाली(Diwali) को हम दीपावली भी कहते हैं जो हिन्दू धर्म में मनाए जाने वाला एक प्रमुख रोशनी का त्यौहार है।

2) दिवाली का त्यौहार प्रतिवर्ष हिन्दी पंचाग के कार्तिक महीने की अमावस्या तिथि को मनाया जाता है।

3) ग्रेगोरियन कैलेंडर के अक्टूबर या नवंबर महीने में  दिपावली का यह पर्व वर्ष के मनाया जाता है।

4) दिवाली मुख्य रूप से 3 दिनों तक भव्य रूप से मनाए जाने वाला हिन्दू धार्मिक महापर्व है।

5) लोग घरों को अच्छी तरह से साफ सुथरा करते हैं और झालर-मोती तथा रंगोलियों से सजाते हैं।

6) दिवाली के दिन हिन्दू लोग घरों में माता लक्ष्मी और भगवान गणेश की नई मुर्तियों को स्थापित करते हैं और पूजा-पाठ करते हैं।

7) दिवाली का पर्व घरों को दीपों से सजाए जाने के साथ-साथ बच्चों के द्वारा खूब आतिशबाजी करने के लिए भी जाना जाता है।

8) घरों में इस दिन तरह-तरह के व्यंजन और पकवान बनाए जाते है और लोग आस-पड़ोस में मिठाईयाँ बाटते हैं।

9) इस त्यौहार को मनाए जाने की मुख्य मान्यता है कि इसी दिन भगवान राम, माता सीता और लक्ष्मण 14 वर्ष के वनवास से लौटे थे।

10) प्रभु राम के वनवास से लौटने पर अयोध्यावासियों ने मिट्टी के दिये जलाकर उनका स्वागत किया, तब से यह पर्व मनाया जा रहा है।

यह भी पढ़े : दिवाली पर कविता

Diwali par 10 Vakya – Set 2

1) दिवाली का पर्व केवल भारत में ही नहीं अन्य देशों में भी हिन्दू और अन्य धर्म के लोगों द्वारा बड़े श्रद्धा-भाव से मनाया जाता है।

2) दिवाली का पहला दिन धनतेरस के पर्व से शुरू होता है जिस दिन लोग लक्ष्मी की पूजा करते हैं।

3) दूसरे दिन छोटी दिवाली और तीसरे दिन मुख्य दिवाली का पर्व बड़े ही धूमधाम और श्रद्धाभक्ति से मनाया जाता है।

4) दिवाली के पर्व को अँधेरे पर रोशनी के विजय और सच्चाई की जीत के रूप में मनाया जाता है।

5) वर्ष 2021 में दिपावली का त्यौहार 2 नवंबर धनतेरस से 4 नवंबर दिवाली के दिन तक मनाया जाएगा।

6) भारत के उत्तरी राज्यों में दिवाली के दिन जुआ खेलने की बड़ी पुरानी परंपरा चली आ रही है, जो कि गलत आदत है।

7) दिवाली के चौथे दिन गोवर्धन पूजा मनाया जाता है जिसमें भगवान कृष्ण तथा गोवर्धन की पूजा की जाती है।

8) दिवाली (Diwali)भारत में मनाए जाने वाले प्रमुख त्यौहारों में से एक है और इस अवसर पर स्कूलों और सरकारी संस्थानों में भी 3 से 4 दिन का अवकाश रहता है।

9) जैन धर्म के मान्यता के अनुसार इस दिन को भगवान महावीर के निर्वाण के दिवस का भी प्रतीक मानते हैं।

10) दिवाली का पर्व सब मिलकर मनाते हैं जो लोगों को आपस में जोड़ने और एकता की भावना को बढ़ाने का भी कार्य करता है।

दिपावली का पर्व एक प्रमुख त्यौहार होने के साथ-साथ भारतीय संस्कृति का परिचय भी देता है। कई धर्मों के लोगों के द्वारा अपनी-अपनी मान्यताओं के अनुसार दिवाली के त्यौहार को मनाया जाता है। ये त्यौहार बच्चों को बहुत पसंद आता है। दिवाली पर शाम के समय बच्चे नए वस्त्र पहनते हैं और मस्ती करते हैं।

FAQs: Frequently Asked Questions on Diwali

प्रश्न 1 – बौद्ध धर्म के लोगों के लिए दिवाली का क्या महत्व है?

उत्तर – कलिंग युद्ध के पश्चात् सम्राट अशोक इसी दिन मोक्ष की तलाश में बौद्ध धर्म अपनाये और विश्व में शान्ति का प्रचार किये।

प्रश्न 2 – जैन धर्म के लोग दिवाली का पर्व क्यों मनाते हैं?

उत्तर – जैन धर्म के 24वें तीर्थंकर भगवान महावीर के इसी दिन मोक्ष प्राप्ति की याद में जैन अनुयायी दिवाली का पर्व मनाते हैं।

प्रश्न 3 – क्या सिख दिवाली का त्योहार मनाते हैं?

उत्तर – सिख धर्म के लोग बड़े उत्साह से दिवाली का पर्व मनाते हैं, क्योंकि इसी दिन सिखों  के छठवें गुरु हरगोबिन्द साहिब मुगल कारावास से स्वतंत्र हुए थे।

प्रश्न 4 – क्या दिवाली हिन्दुओं का फसल पर्व है?

उत्तर – इस समय धान की पहली फसल घर आती है इसलिए इसे फसल त्योहार के रूप में भी मनाते हैं।

सम्बंधित जानकारी:

गोवर्धन पूजा पर 10 वाक्य

भाई दूज पर 10 वाक्य

Shubham Singh

राजनितिशास्त्र से स्नातक एवं इतिहास से परास्नातक करने के पश्चात् शुभम सिंह लेखन कार्य से जुड़ गये। लेखन से पूर्व किये गये गहन अन्वेषण इनके लेखों में साफ़ दिखाई देते है। उत्कृष्ठ लेखन के साथ-साथ ये युवाओं को उनके शिक्षा एवं भविष्य से सम्बंधित मार्गदर्शन भी करते है। इनका मानना है की सही दिशा में किया गया परिश्रम व्यक्ति को हमेशा सफल बनाता है।

Share
द्वारा प्रकाशित
Shubham Singh